गुवाहाटी (मानवी मीडिया): उपचुनावों में खराब प्रदर्शन के बाद असम कांग्रेस अध्यक्ष भूपेन बोरा की प्रतिक्रिया सामने आई है। उन्होंने चुनावी नतीजे को अप्रत्याशित बताते हुए कहा कि परिणाम का पोस्टमार्टम बहुत जल्द किया जाएगा।
उन्होंने यह भी कहा कि अगले विधानसभा चुनाव से पहले सभी भाजपा विरोधी ताकतों को एकजुट करने का प्रयास विपक्षी पार्टी द्वारा किया जाएगा।
पत्रकारों से बात करते हुए बोरा ने कहा कि हम बहुत जल्द परिणामों का विश्लेषण करेंगे और फिर मैं उपचुनावों में हमारी हार के कारणों को सामने रख सकता हूं। लेकिन मैं सत्तारूढ़ दल से मुकाबला करने के लिए सभी भाजपा विरोधी ताकतों को एकजुट करना जारी रखूंगा।
धुबरी कांग्रेस सांसद रकीबुल हुसैन ने आरोप लगाया कि भाजपा ने सामगुरी विधानसभा सीट पर उपचुनाव में बड़े पैमाने पर धांधली की।
साल 2001 से सांसद हुसैन विधानसभा में सामगुरी का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं, इसी साल लोकसभा चुनाव जीतने के बाद उन्होंने यह सीट छोड़ दी थी। कांग्रेस ने उनके बेटे तंजील हुसैन को उपचुनाव लड़ने के लिए टिकट दिया; हालांकि, उन्हें भाजपा के दिप्लू रंजन सरमा से भारी हार का सामना करना पड़ा।
रकीबुल हुसैन ने कहा कि सामगुरी विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत कई मतदान केंद्रों पर वोटों में धांधली हुई। मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने उपचुनाव में मेरे बेटे की हार सुनिश्चित करने के लिए प्रशासनिक मशीनरी का इस्तेमाल किया।
इस बीच, कांग्रेस सांसद गौरव गोगोई ने कहा कि मैं बेहाली विधानसभा क्षेत्र में अपनी पार्टी की हार की पूरी जिम्मेदारी लेता हूं।
कांग्रेस नेता ने दो महीने से अधिक समय तक बेहाली में सक्रिय रूप से प्रचार किया था।
असम की पांच विधानसभा सीटों- ढोलाई, बेहाली, समागुरी, बोंगाईगांव, सिदली पर उपचुनाव हुए क्योंकि इन सीटों के विधायक आम चुनावों में जीते और लोकसभा पहुंच गए थे उसके बाद ये सीटें खाली हो गई थीं।
सामगुरी को छोड़कर, अन्य चार निर्वाचन क्षेत्रों पर भाजपा और उसके सहयोगी दलों- असम गण परिषद (एजीपी) और यूनाइटेड पीपुल्स पार्टी लिबरल (यूपीपीएल) का कब्जा था। भाजपा ने दो निर्वाचन क्षेत्रों- ढोलाई और बेहाली को बरकरार रखा है, जिसमें निहार रंजन दास और दिगंत घाटोवाल ने उपचुनाव में आसानी से जीत हासिल की है।
सत्तारूढ़ पार्टी ने डिप्लू रंजन सरमा की जीत के साथ सामगुरी में कांग्रेस के गढ़ को ध्वस्त कर दिया। एजीपी ने बोंगाईगांव सीट पर भी 35,164 मतों के अंतर से जीत हासिल की। दीप्तिमयी चौधरी ने यहां एजीपी के टिकट पर जीत दर्ज की। उनके पति, जो अब बारपेटा से लोकसभा सांसद हैं- फणीभूषण चौधरी वह बोंगाईगांव सीट से छह बार विधायक रह चुके हैं।
भाजपा की एक अन्य सहयोगी पार्टी यूपीपीएल ने भी सिदली विधानसभा क्षेत्र में अपने निकटतम उम्मीदवार को 37,016 मतों के अंतर से हराकर उपचुनाव जीता। कांग्रेस ने पांच सीटों पर चुनाव लड़ा, लेकिन एक भी सीट जीतने में सफल नहीं रही।