निकली चुकी थी जान, लेकिन जारी था मुर्दे का इलाज! - मानवी मीडिया

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Saturday, November 23, 2024

निकली चुकी थी जान, लेकिन जारी था मुर्दे का इलाज!


रायबरेली : (मानवी मीडियाजिले के एक निजी अस्पताल में मुर्दा युवक के इलाज करने का आरोप परिजनों ने लगाया है। इस दौरान परिजनों ने जमकर हंगामा किया। सूचना पर स्वास्थ्य विभाग ने जांच शुरू कर दी है। हंगामा बढ़ने पर अस्पताल प्रशासन ने पुलिस को सूचना दी। मौके पर पहुंची पुलिस ने मामले को शांत कराया। 

महराजगंज कोतवाली क्षेत्र के अटरेहता गांव के रहने वाले रामकिशोर साहू ने एक निजी होम पर गंभीर आरोप लगाए हैं।रामकिशोर का कहना है कि मेरा छोटे भाई ने गुटका खाया उसके बाद वह गिर गया। हालत गंभीर होने पर जिला अस्पताल ले जाया गया, वहां चिकित्सकों ने एम्स के लिए रेफर कर दिया। 

छोटे भाई को एम्स में उचित इलाज नहीं मिला। एम्स के चिकित्सकों ने प्राथमिक उपचार करके लखनऊ रेफर कर दिया। इसके बाद शुक्रवार देर रात नेहरू नगर स्थित एक निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां पर उसकी मौत हो गई। अस्पताल प्रशासन मौत के बाद भी इलाज करता रहा।  उधर, निजी अस्पताल के डा. इरशाद का कहना है कि ब्रेज हेमरेज का मरीज था। आरोप पूरी तरह से गलत है। 

कुछ लोगों के बहकावे में आकर उसने हंगामा किया। बाद में सबकुछ सामान्य हो गया। हालांकि शिकायत एसीएमओ डा. अरविंद कुमार ने हास्पिटल पहुंचकर जांच शुरू कर दी है। उन्होंने बताया कि 30 साल का पेसेंट था। प्रथम दृष्टया ब्रेन हैमरेज से मौत होने की बात सामने आई है। जांच के बाद ही कुछ स्पष्ट हो सकेगा।

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