बेंगलुरु : (मानवी मीडिया) महालक्ष्मी मर्डर केस के मुख्य आरोपी ने ओडिशा के भद्रक जिले के गांव में बुधवार दोपहर फांसी लगाकर सुसाइड कर लिया। उसका शव एक पेड़ पर लटकता मिला। उसकी बाइक भी वहीं खड़ी मिली। पुलिस के मुताबिक मृतक का नाम मुक्तिरंजन रॉय है। उसके पास से एक डायरी बरामद हुई है, जिसमें उसने महालक्ष्मी के मर्डर की बात कबूली है। महालक्ष्मी और रंजन साल 2023 एक-दूसरे जानते थे और रिलेशनशिप में थे। दोनों एक ही मॉल में काम करते थे। 20 सितंबर को बेंगलुरु के व्यालिकावल इलाके में बसप्पा गार्डन के पास बने तीन मंजिला मकान में 29 साल की महालक्ष्मी की लाश मिली थी। उसके शव के 59 टुकड़े कर फ्रिज में रखे गए थे।महालक्ष्मी मल्लेश्वरम में एक कॉस्ट्यूम आउटलेट में टीम लीडर थी। कर्नाटक के गृह मंत्री जी परमेश्वर ने भी कहा था कि संदिग्ध के ओडिशा में होने की जानकारी मिली है। आरोपी को पकड़ने के लिए टीमों का गठन किया गया है। उन्हें ओडिशा भेजा गया है। बेंगलुरु पुलिस भी आरोपी की तलाश कर रही थी।मुख्य आरोपी मुक्तिरंजन और मृतक महालक्ष्मी की फाइल फोटो।
आडिशा के भुइनपुर गांव के पास सड़क पर मुक्तिरंजन की बाइक खड़ी मिली। महालक्ष्मी 4 साल से पति को छोड़कर अकेले रहती थी महालक्ष्मी के भाई उक्कम सिंह ने दैनिक भास्कर को बताया था कि उनका परिवार नेपाल के कठंद राज्य के टीकापुर गांव का रहने वाला है। 30 साल पहले मम्मी-पापा काम के लिए बेंगलुरु आए और यहीं बस गए। महालक्ष्मी की शादी नेलमंगला में रहने वाले हेमंत दास से हुई थी। हेमंत मोबाइल एसेसरीज की शॉप में काम करता है। महालक्ष्मी एक मॉल में काम करती थी। उनकी 4 साल की एक बेटी भी है। महालक्ष्मी और हेमंत करीब 4 साल से अलग-अलग रह रहे थे। हालांकि, दोनों का अभी तलाक नहीं हुआ था। बेटी हेमंत के साथ रहती थी। महालक्ष्मी अक्टूबर 2023 से बसप्पा गार्डन के पास 5वीं क्रॉस पाइपलाइन रोड पर व्यालिकावल में किराए के मकान में रह रही थी। घर से बदबू आने पर हुआ था मर्डर का खुलासा महालक्ष्मी के मर्डर का खुलासा तब हुआ जब उसकी बिल्डिंग में रहने वाले जीवन प्रकाश को तेज बदबू का एहसास हुआ। बदबू मकान के टॉप फ्लोर से आ रही है, जहां महालक्ष्मी रहती थी। जीवन महालक्ष्मी के दरवाजे पर पहुंचे तो बदबू इतनी बढ़ गई कि खड़ा होना मुश्किल हो गया था। दरवाजे बाहर से लॉक लगा था। जीवन ने तुरंत महालक्ष्मी के भाई उक्कम सिंह और बहन को फोन लगाया। देर रात करीब 12.30 बजे महालक्ष्मी की फैमिली पहुंची। इसके बाद दरवाजे का लॉक तोड़ा गया था। कमरे में खून बिखरा पड़ा था और जमीन पर कीड़े रेंग रहे थे। घर का सारा सामान बिखरा पड़ा था। महालक्ष्मी की मां ने फ्रिज खोला तो अंदर बेटी का कटा सिर, पैर और डेडबॉडी के 59 से ज्यादा टुकड़े थे। पुलिस ने महालक्ष्मी के परिवार को बताया था कि CCTV फुटेज में मर्डर की रात 2 लोग स्कूटी से महालक्ष्मी के घर आए थे। पुलिस ने इस मामले में अशरफ नाम के हेयर ड्रेयर से पूछताछ की थी।
आरोपियों ने महालक्ष्मी की डेडबॉडी के 59 टुकड़े कर फ्रिज में रखे थे और बाहर से ल़ॉक लगा दिया था। घर से बदबू आने पर 19 दिन बाद मर्डर का पता चला। उक्कम ने पुलिस को तीन नाम बताए थे उक्कम ने महालक्ष्मी के मैनेजर, ऑफिस के एक कलीग और एक दोस्त पर भी हत्या का शक जताया था। पुलिस ने इन्हें पकड़ा भी, लेकिन बस पूछताछ करके छोड़ा दिया था। उक्कम के मुताबिक, जांच अधिकारी ने कहा था कि उन्होंने एक आरोपी को ट्रैक कर लिया है। पुलिस को 5 लोगों पर शक था। एक आरोपी को पुलिस ने अरेस्ट कर लिया है। मुख्य आरोपी के बारे में बताया गया था कि वो ओडिशा का रहने वाला है और फरार है। पुलिस उसकी तलाश में जुटी थी। जिस फ्रिज में महालक्ष्मी की बॉडी मिली, वो उसी ने खरीदा था उक्कम ने बताया था कि महालक्ष्मी इंडिपेंडेंट महिला थी। घर में मौजूद सारा सामान उसने अपने पैसों से ख़रीदा था। सोफा, अलमारी समेत घर का सारा सामान खुद लाई थी। जिस फ्रिज में उसकी लाश मिली है, वो भी उसने कुछ ही दिन पहले खरीदा था।
बेंगलुरु के व्यालिकावल इलाके में बसप्पा गार्डन के पास इसी तीन मंजिला मकान में महालक्ष्मी किराए पर रहती थी। 67 से पूछताछ, FSL जांच में नहीं मिले सबूत पुलिस सोर्सेज ने भास्कर को बताया था कि इस मामले में अब तक 67 लोगों से पूछताछ हुई है। इनमें से 8 लोगों से पुलिस ने शक के आधार पर कड़ी पूछताछ की है। फोरेंसिक साइंस लेबोरेटरी (FSL) की टीम को घर के अंदर से किसी भी फोर्स एंट्री के सबूत नहीं मिले हैं। फर्श पर भी खून के निशान नहीं मिले हैं। ऐसा माना जा रहा है कि आरोपियों ने हत्या के बाद खून को केमिकल से साफ किया और फरार हो गए। FSL एक्सपर्ट ल्यूमिनोल नाम के केमिकल का इस्तेमाल करके खून के धब्बों का पता लगा रहे हैं। हालांकि FSL का ये दावा और परिवार का बयान आपस में मेल नहीं खाता है। उक्कम ने दावा किया है कि जब वे लोग अंदर घुसे तो फर्श पर खून और कीड़े थे।
महालक्ष्मी एक मॉल में काम करती थी। पति से विवाद की वजह से 4 साल से अलग रह रही थी। अब तक शव के 59 टुकड़े मिले व्यालिकावल पुलिस ने रेफ्रिजरेटर जब्त कर फोरेंसिक जांच कराई। पुलिस को शक है कि हत्यारे ने भागने से पहले घर को अच्छी तरह से धोया या फिर उसके शरीर को कहीं और काटा। बेडरूम में मिला ट्रॉली सूटकेस शव रखकर उसे ठिकाने लगाने के लिए लाया गया था। पुलिस को शक है कि डेडबॉडी को घर से बाहर ले जाकर ठिकाने लगाने में रिस्क था। जहां महालक्ष्मी रहती है, वो भीड़भाड़ वाला इलाका है। इसी वजह से मर्डर करने वालों ने बॉडी के टुकड़े किए। उन्हें फ्रिज में भर दिया, ताकि कुछ दिनों तक बदबू न आए। आरोपियों ने खून के निशान मिटाए और फरार हो गए। शुरुआती जांच में पता चला है कि बॉडी के टुकड़े 19 दिनों से फ्रिज में बंद थे। अब तक शव के 59 टुकड़े मिले हैं। इन टुकड़ों को बोरिंग हॉस्पिटल के पोस्टमॉर्टम हाउस में पहले एक-दूसरे के साथ जोड़ा गया। फिर आगे की जांच की गई। महालक्ष्मी का मोबाइल घर से बरामद हुआ, उसे ऑफ किया गया था।
उसकी भी फोरेंसिक जांच करवाई जा रही है। बेंगलुरु के पुलिस कमिश्नर बी दयानंद ने बताया कि बॉडी के टुकड़े कर सिंगल डोर वाले 165 लीटर के फ्रिज में रखे गए थे। जांच में सामने आया है कि महिला के सिर को तीन हिस्सों में काटा गया। पैर के कई टुकड़े किए गए। महिला की आंतें, सिर के बाल और अन्य छोटे हिस्से एक प्लास्टिक में भर फ्रिज में रखे हुए थे। महालक्ष्मी के घर से पुलिस ने फ्रिज भी जब्त कर जांच के लिए फोरेंसिक लैब भेजा है, जिसमें उसकी डेडबॉडी के टुकड़े रखे गए थे। शव को बाहर नहीं निकाल सके, इसलिए काटकर फ्रिज में छिपाया पुलिस सोर्सेज के मुताबिक, 'पुलिस को वो हथियार भी नहीं मिला, जिसका इस्तेमाल महालक्ष्मी के शरीर को टुकड़ों में काटने के लिए किया गया था। हत्या वाली जगह पर पुलिस को कई उंगलियों के निशान मिले हैं। पुलिस अब भी पोस्टमॉर्टम जांच और FSL रिपोर्ट का इंतजार कर रही है। इस मामले की जांच करने के लिए दो स्पेशल टीमें बनाई गई हैं। .