लखनऊ : (मानवी मीडिया) नीट यूजी काउंसिलिंग के दौरान एमबीबीएस में दाखिला लेने के लिए फर्जी व कूटरचित अल्पसंख्यक प्रमाण पत्रों का खुलासा हुआ है। इन प्रमाण पत्रों के द्वारा अल्पसंख्यक मेडिकल कॉलेजों में कई अभ्यर्थियों को सीट भी आंवटित हो गई। चिकित्सा शिक्षा विभाग द्वारा इन प्रमाण पत्रों की जांच के लिए संबन्धित जिलाधिकारियों को पत्र लिखा गया है। साथ ही दाखिला निरस्त कर संबन्धित अथ्यर्थी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने के चेतावनी भी दी गई है।
नीट यूजी की प्रथम चरण की काउंसिलिंग में कई अभ्यर्थियों ने नोडल सेंटर पर अपने प्रपत्रों के साथ फर्जी अल्पसंख्यक प्रमाण पत्र लगाकर सीट प्राप्त कर लिया। कॉलेजों में दाखिले के दौरान कई अभ्यर्थियों के प्रमाणपत्र प्रथम दृष्टया अवैध पाए गए। मामले की शिकायत चिकित्सा शिक्षा विभाग में पहुंची,जांच के निर्देश दे दिये गये हैं। मालूम हो कि प्रदेश में निजी क्षेत्र के पांच मुस्लिम अल्पसंख्यक मेडिकल कॉलेजों में, एफएच मेडिकल कॉलेज आगरा, तीर्थंकर महावीर मेडिकल एवं रेस मुरादाबाद के अलावा राजधानी में एरा मेडिकल कॉलेज, इंटीग्रल इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंस रिसर्च सेंटर और कैरियर इंस्टीट्यूट ऑफ मेडिकल साइंसेज में आवंटित सीटों पर दाखिले की प्रक्रिया चल रही है।