लखनऊ : (मानवी मीडिया) डॉ. राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान में इलाज के लिए शनिवार को पहुंची महिला के शरीर में लिवर और पित्त की थैली पेट में बायें तरफ मिले हैं। जिसको देखकर सर्जरी विभाग के डॉक्टर भी अचंभित हो गये और उन्होंने तत्काल सर्जरी करने का फैसला किया। महिला के पित्त की थैली में पथरी थी, खास तकनीक से सर्जरी कर विभाग के डॉ. विकास सिंह ने इतिहास रच दिया है। खास बात यह है कि जिस तकनीक से विकास सिंह ने सर्जरी की। उस तकनीक से दुनियाभर में अभी तक केवल तीन से चार डॉक्टरों ने ही सर्जरी की है। जिस तरह से महिला के शरीर में मौजूद अंग सामान्य लोगों से अलग हैं।
इस तरह से दस हजार लोगों में से किसी एक महिला अथवा पुरुष में इस तरह से अंग पाये जाते हैं। दरअसल, हरदोई की रहने वाली महिला (36) लंबे समय से पेट में बायीं तरफ होने वाले दर्द से परेशान थी, कई जगह इलाज कराया, लेकिन दर्द से उन्हें निजात नहीं मिली। जिसके बाद महिला इलाज के लिए लोहिया संस्थान पहुंची। सर्जरी विभाग के प्रोफेसर विकास सिंह ने महिला की जांच कराई। जिसके बाद पता चला कि मरीज के पेट में बायीं तरफ पित्त की थैली है, जिसमें पथरियाँ बन गई है।
डॉ. विकास ने बताया कि सामान्य रूप से पित्त की थैली पेट में दाहिनी तरफ लिवर के नीचे होती है। उन्होंने बताया कि लोगों में सामान्यतः बाएं पाए जाने वाले सभी अंग मरीज में दाहिनी तरफ मिले, वहीं दाहिने पाए जाने वाले सभी अंग बायीं तरफ मिले हैं। जिसकी पुष्टि CT स्कैन कराकर भी की गई है। जन्मजात रूप से पायी जाने वाली यह स्थिति चिकित्सा विज्ञान में साइटस इनवर्सस टोटलिस के नाम से जानी जाती है जो कि वैश्विक स्तर पर 10 हजार में से केवल एक व्यक्ति को होता है।