उत्तर प्रदेश : (मानवी मीडिया) उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने बताया कि मा0 प्रधानमंत्री की प्रेरणा व सतत् मार्गदर्शन में सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं के माध्यम से महिलाओं व बच्चों के जीवन स्तर में निरन्तर सुधार हो रहा है और इस दिशा में सरकार द्वारा बहुत सकारात्मक कदम उठाए गए हैं। देश व प्रदेश में पोषण आधारित विभिन्न गतिविधियां संचालित की जा रही हैं, जिनका प्रत्यक्ष असर भी दिखाई दे रहा है। आधी आबादी को पूरा अधिकार दिलाने के लिए सरकार निरन्तर व निर्बाध रूप आगे बढ़ कर कार्य कर रही है। परिणामस्वरूप महिलाओं की आमदनी बढ़ने साथ ही महिलाओ व बच्चों के पोषण स्तर में भी लगातार सुधार हो रहा है। राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के माध्यम से महिलाओं को स्वावलम्बी व आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है।ग्राम्य विकास आयुक्त जी एस प्रियदर्शी ने बताया कि उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य नेतृत्व व मार्गदर्शन में किये गये भरसक प्रयासों से ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत गठित स्वयं सहायता समूहों की दीदियों की आमदनी तो बढ़ी ही है, उनमें उत्साह की अभूतपूर्व अभिवृद्धि हुयी है। बी सी सखी, बैंक सखी, विद्युत सखी, आदि अलग-अलग स्वरूप में काम कर न केवल अपने व अपने परिवार के उत्थान की ओर अग्रसर है, बल्कि देश व समाज के उत्थान में भी योगदान दे रही है। इनके कार्य क्षेत्र व सुविधाओ मे और अधिक इजाफा किया जा रहा है। राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन की मिशन निदेशक दीपा रंजन ने बताया कि 38844 बी सी सखी द्वारा रू 25502 करोड़ से अधिक की धनराशि का लेन-देन करते हुये लगभग रू 68.43 करोड़ से अधिक का लाभांश अर्जित किया गया है। प्रदेश में स्वयं सहायता समूहों की 15521 महिलाओं को विद्युत सखी के रूप में चयन किया गया है, जिसमें 10269 सक्रिय विद्युत सखियों द्वारा रू 867 करोड़ का बिल कलेक्शन करते हुए रू 13 करोड़ से अधिक धनराशि का कमीशन अर्जित किया गया है। समूहों के माध्यम से बुन्देलखण्ड में बलिनी मिल्क प्रोड्यूसर कम्पनी का संचालन किया जाना महिलाओं की आत्मनिर्भरता का ऐतिहासिक प्रयास है।
उत्तर प्रदेश : (मानवी मीडिया) उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य ने बताया कि मा0 प्रधानमंत्री की प्रेरणा व सतत् मार्गदर्शन में सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं के माध्यम से महिलाओं व बच्चों के जीवन स्तर में निरन्तर सुधार हो रहा है और इस दिशा में सरकार द्वारा बहुत सकारात्मक कदम उठाए गए हैं। देश व प्रदेश में पोषण आधारित विभिन्न गतिविधियां संचालित की जा रही हैं, जिनका प्रत्यक्ष असर भी दिखाई दे रहा है। आधी आबादी को पूरा अधिकार दिलाने के लिए सरकार निरन्तर व निर्बाध रूप आगे बढ़ कर कार्य कर रही है। परिणामस्वरूप महिलाओं की आमदनी बढ़ने साथ ही महिलाओ व बच्चों के पोषण स्तर में भी लगातार सुधार हो रहा है। राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन के माध्यम से महिलाओं को स्वावलम्बी व आत्मनिर्भर बनाया जा रहा है।ग्राम्य विकास आयुक्त जी एस प्रियदर्शी ने बताया कि उप मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य नेतृत्व व मार्गदर्शन में किये गये भरसक प्रयासों से ग्रामीण आजीविका मिशन के तहत गठित स्वयं सहायता समूहों की दीदियों की आमदनी तो बढ़ी ही है, उनमें उत्साह की अभूतपूर्व अभिवृद्धि हुयी है। बी सी सखी, बैंक सखी, विद्युत सखी, आदि अलग-अलग स्वरूप में काम कर न केवल अपने व अपने परिवार के उत्थान की ओर अग्रसर है, बल्कि देश व समाज के उत्थान में भी योगदान दे रही है। इनके कार्य क्षेत्र व सुविधाओ मे और अधिक इजाफा किया जा रहा है। राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन की मिशन निदेशक दीपा रंजन ने बताया कि 38844 बी सी सखी द्वारा रू 25502 करोड़ से अधिक की धनराशि का लेन-देन करते हुये लगभग रू 68.43 करोड़ से अधिक का लाभांश अर्जित किया गया है। प्रदेश में स्वयं सहायता समूहों की 15521 महिलाओं को विद्युत सखी के रूप में चयन किया गया है, जिसमें 10269 सक्रिय विद्युत सखियों द्वारा रू 867 करोड़ का बिल कलेक्शन करते हुए रू 13 करोड़ से अधिक धनराशि का कमीशन अर्जित किया गया है। समूहों के माध्यम से बुन्देलखण्ड में बलिनी मिल्क प्रोड्यूसर कम्पनी का संचालन किया जाना महिलाओं की आत्मनिर्भरता का ऐतिहासिक प्रयास है।