लखनऊ रेलवे स्टेशनों पर 5 दिन में 17 लाशें मिलीं - मानवी मीडिया

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Sunday, June 2, 2024

लखनऊ रेलवे स्टेशनों पर 5 दिन में 17 लाशें मिलीं


लखनऊ : (मानवी मीडिया) रेलवे स्टेशनों पर 5 दिन में 17 लावारिश लाशें मिली हैं। ज्यादातर लाशें पटरियों और प्लेटफॉर्मों पर पड़ी मिली। इन लाशों की अब तक पहचान नहीं हो सकी है। शवों को पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। ज्यादातर मौतों का कारण भीषण गर्मी बताया जा रहा है, हालांकि आधिकारिक तौर पर मौत की वजह स्पष्ट नहीं है। वैसे भी मौत गर्मी से हुई या नहीं, यह पोस्टमॉर्टम से भी पता नहीं चलता। GRP थाना प्रभारी निरीक्षक संजय खरवार का कहना है- चारबाग, ऐशबाग समेत 4 स्टेशनों के प्लेटफॉर्म पर 9 लाशें, जबकि पटरियों के किनारे 8 शव बरामद हुए। लखनऊ स्टेशन से गुजरने वाली ट्रेनें 5 से 18 घंटे तक लेट हैं। छुट्टी का सीजन होने के कारण भीड़ बेकाबू है। एसी, स्लीपर कोच भी जनरल बोगी की तरह खचाखच भरी रहती है। 

यात्रियों को गैलरी और गेट पर बैठकर यात्रा करनी पड़ रही। ​​​ आधे घंटे लगातार डालता रहा पानीशनिवार को चारबाग रेलवे स्टेशन पर भारी भीड़ रही। गर्मी के कारण लोगों का जीना बेहाल था। लखनऊ से कोलकता जा रहे राजर्षि चक्रवती प्लेटफार्म नंबर 7 पर बैठे थे। उनके सिर पर एक युवक लगातार पानी डाल रहा था। उन्हें देखकर अन्य यात्री भी परेशान हो गए। एक यात्री ने बताया कि आधे घंटे में 8 लीटर से ज्यादा पानी डाल चुके हैं। यह तस्वीर राजर्षि चक्रवर्ती की है। भीषण गर्मी के चलते वह शरीर पर पानी डाल रहे। 'इतनी तेज गर्मी में मैं नहीं बचूंगा, निकल जाएगी जान'राजर्षि चक्रवती कहते हैं कि मैं गाड़ी आने से एक घंटे पहले पहुंच गया। गर्मी इतनी तेज है कि अचानक घबराहट होने लगी। सिर पर पानी डाल रहे हैं। 

इलेक्ट्रॉल और ORS घोल भी पी रहे हैं। इस गर्मी दो देखकर ऐसा लग रहा है कि अब मैं नहीं बचूंगा, मेरी जान निकल जाएगी। राजर्षि चक्रवती ने कहा मैं बीमार रहता हूं। हार्ट की सर्जरी 2 बार हो चुकी है। रोज दवा खाता हूं। इस वजह से ज्यादा गर्मी नहीं बरदास्त कर पाते हैं। इस गर्मी में कोई भी मर सकता है। मेरे साथ क्या होगा मैं कुछ नहीं कह सकता हूं। लखनऊ के चारबाग रेलवे स्टेशन पर ट्रेन पहुंचते ही सीट के लिए यात्रियों की भीड़। स्पेशल ट्रेनें 18 घंटे तक लेटअमेठी के रहने वाले हरिओम शुक्ला वैष्णो देवी दर्शन करने जा रहे थे, वो कहते हैं- ट्रेन 18 घंटे की लेट है। यात्रा शुरू होने से पहले ही डर लग रहा है कि पहुंच पाउंगा या नहीं। इनके साथ में प्रभात और अभय भी थे वो कहते हैं- गर्मी से बहुत ज्यादा परेशानी हो रही है। प्लेटफॉर्म नंबर-1 पर यात्री जमीन पर बैठे हुए हैं। बेहाल दिखे यात्रीरेलवे स्टेशन पर उमस भरी गर्मी से यात्री परेशान रहे। 

ट्रेन के इंतजार में वह कई घंटे फर्श और सीढ़ियों पर ही बैठे रहे। प्यास बुझाने के लिए पॉलीथीन में भी पानी भरते नजर आ रहे। चारबाग स्टेशन पर पानी पीने के लिए यात्रियों की कतार लगी रही। प्लेटफार्म के टिन शेड के नीचे बैठे यात्रियों को तपन भरी गर्मी के चलते परेशानी हो रही। प्लेटफॉर्म नंबर-1 पर ट्रेन का इंतजार कर रहे रितिक जायसवाल ने कहा- दोपहर 1 बजकर 10 मिनट की ट्रेन थी, लेकिन अभी तक नहीं आई है। ढाई घंटे की देरी अभी भी दिख रही है। यह खबर भी पढ़ें 58 लाशों से पोस्टमॉर्टम हाउसफुल:ज्यादातर मौतें गर्मी से; 500 मीटर तक फैली दुर्गंध, शव रखने के लिए रैन बसेरा मांगा 58 शवों से कानपुर का पोस्टमॉर्टम हाउसफुल हो गया है। शव रखने की जगह नहीं बची। लगातार आ रही लाशों के चलते अतिरिक्त जगह और डॉक्टरों की डिमांड की गई है। पोस्टमॉर्टम हाउस के 500 मीटर की रेंज में भीषण दुर्गंध फैल गई है। ज्यादातर मौतों का कारण भीषण गर्मी बताया जा रहा है, हालांकि आधिकारिक तौर पर मौत की वजह स्पष्ट नहीं है। वैसे भी मौत गर्मी से हुई या नहीं, यह पोस्टमॉर्टम से पता भी नहीं चलता। पोस्टमॉर्टम करते-करते पतारा सीएचसी के डॉ. अश्विनी बाघमरे गश खाकर जमीन पर गिर पड़े।

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