लखनऊ :(मानवी मीडिया) बिजली अब हर नागरिक की आवश्यकता ही नहीं उसका अधिकार भी है। प्रदेश की जनता को इस अधिकार से लाभान्वित करने में ऊर्जा मंत्री ए.के. शर्मा लगातार प्रयासरत रहते हैं। जहाँ एक ओर मंत्री शर्मा विद्युत आपूर्ति में आ रही बाधाओं को दूर करने के लिए विभागीय अधिकारियों से लेकर कार्मिकों तक के साथ लगातार कंधे से कन्धा मिलाकर काम कर रहे हैं। तो वहीँ दूसरी ओर इस आवश्यक सेवा को जनता तक पहुंचाने में बाधा डालने व भ्रष्टचार कर लोगों को परेशान करने वाले विद्युतकार्मिकों पर सख्त से सख्त कार्रवाई करने में भी कोई कसर नहीं छोड़ रहे हैं। विभाग की बदनामी करा रहे ऐसे कार्मिकों पर पिछले एक माह में ऊर्जा मंत्री ने कई सख्त कार्रवाइयां भी की हैं।
मंत्री शर्मा ने विभाग के हित में किए जा रहे कार्यों को बोझ समझने वाले और बेईमानीपूर्ण कार्यों से विभाग का बंटाधार करने वाले दोषी कर्मियों पर व्यापक कार्रवाई की है। जिसमें उन्होंने बताया कि पिछले माह में दी गई चेतावनी के बाद भी अपनी कार्यशैली में सुधार न करने वाले कार्मिकों में 12 को बर्खास्त, 12 को निलंबित व अनेकों का तबादला किया गया है। जिसमें पूर्वांचल में 03, मध्यांचल में 06, दक्षिणांचल में 03 सहित 12 संविदा कर्मियों को बर्खास्त कर उनकी सेवाएं समाप्त की गई। इसमें -
1. एक अधिशासी अभियंता (EE) को निलंबित किया गया
2. 6 अवर अभियंता (AE) को निलंबित किया गया
3. 3 टीजी-2 को निलंबित किया गया
5. एक उपखण्ड अधिकारी (SDO) को निलंबित किया गया
6. एक संविदा कर्मी को भी निलंबित किया गया
ऊर्जा मंत्री ने कहा कि पारदर्शिता और कर्तव्यनिष्ठा से कार्य करने से ही विद्युत व्यवस्था में सुधार किया जा सकता है। इमानदारी से कार्य करने वालों की हमेशा सराहना होगी, तो वहींं कार्य में बाधा डालने या भ्रष्टाचार से विभाग की बदनामी कराने वालों के विरुद्ध कार्रवाई भी निश्चित होगी।