लखनऊः (मानवी मीडिया) उत्तर प्रदेश की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल से आज राजभवन में कृष्णा कॉलेज, बिजनौर के विद्यार्थियों ने मुलाकात करके ज्ञानवर्द्धक चर्चाओं का अनुभव प्राप्त किया। छात्र-छात्राओं ने मुलाकात के दौरान राज्यपाल जी के समक्ष अपनी कई जिज्ञासाएं प्रकट की और उनके वृहद अनुभव पर अपने कौतुहल के साथ विविध प्रश्नों से प्रेरणा ली।
विद्यार्थियों की जिज्ञासाओं का समाधान करने के क्रम में राज्यपाल जी ने शिक्षा को रोजगार से न जोड़ने और आत्मनिर्भिरता को प्राथमिकता देने पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि योग्यता नौकरी की तलाश नहीं करती। योग्य और हुनरमंद लोग अपना स्वयं का कार्य करके आत्मनिर्भर बनते हैं। उन्होंने बच्चांे के समग्र विकास में परिवार से प्राप्त प्रारम्भिक ज्ञान और सही पोषण को आवश्यक बताया। उन्होंने कहा कि सही संस्कार, कार्यक्षेत्र के प्रति सम्मान और दायित्वों के प्रति समर्पण के साथ कार्य निर्वहन की आदत बाल्यावस्था से परिवार से ही विकसित होती है। इसी क्रम में उन्होंने विश्वविद्यालयों में गर्भाधान संस्कार की शिक्षा जोड़ने को भी आवश्यक बताया और कहा कि बच्चा माँ के गर्भ से ही शिक्षा ग्रहण करने लगता है, इसलिए गर्भ के समय माँ और परिवार को कैसा आचरण-व्यवहार करना चाहिए इसका ज्ञान होना आवश्यक है।
विद्यार्थियों के व्यवहारिक ज्ञान पर चर्चा करते हुए राज्यपाल ने मुलाकात के दौरान आए छात्र-छात्राओं को शैक्षणिक परिसर से बाहर अधिकाधिक गतिविधियों में प्रतिभाग करने के लिए प्रोत्साहित किया। उन्होंने कहा कि विद्यालयी शिक्षा के अतिरिक्त किए गए कार्य और प्रतिभागिता व्यवहारिक ज्ञान में वृृद्धि करता है। तनाव मुक्त विद्यार्थी जीवन पर चर्चा करते हुए राज्यपाल जी ने कहा कि बच्चांे को अपनी रूचि के अनुरूप विषयों का चयन करके शिक्षा प्राप्त करने की व्यवस्था जरूरी है। इसी क्रम में उन्होंने बताया कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 में विद्यार्थियों को रूचि अनुसार विषय चयन की व्यवस्था बनाई गई है।
राज्यपाल ने बच्चों की योग्याताओं की परस्पर तुलना को उनके समग्र विकास के लिए घातक बताया और कहा कि अभिभावक अपने बच्चों की परस्पर अथवा अन्य किसी बच्चे की योग्यता से तुलना ना करें। बच्चे को अपनी योग्यता और रूचि के अनुरूप ही शिक्षा और व्यवसाय का चयन कराना चाहिए।
विद्यार्थियों ने राज्यपाल से शिक्षा उपरांत रोजगार चयन, शिक्षा के दौरान तनाव, स्वास्थय और पोषण की आपूर्ति जैसे कई मुद्दों पर चर्चा की और ज्ञानवर्द्धक जानकारियाँ प्राप्त की। मुलाकात के लिए आए सभी 35 विद्यार्थी अपने प्राचार्य और तीन शिक्षकों के साथ बिजनौर के कृष्णा कॉलेज से आए थे। ये कॉलेज महात्मा ज्योतिबा फुले विश्वविद्यालय बरेली से सम्बद्ध सहायता प्राप्त कॉलेज है। विद्यार्थियों ने राजभवन भ्रमण करके अन्य जानकारियाँ भी प्राप्त की।