लखनऊ (मानवी मीडिया) राजधानी लखनऊ के गोमती नगर स्थित राजकीय प्राथमिक विद्यालय उजरियांव में पढ़ने वाले करीब 60 से 70 फीसदी बच्चों के दांत खराब हैं। इस बात का खुलासा तब हुआ है जब डॉ. राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान के दंत चिकित्सा विभाग के डॉक्टरों ने राजकीय प्राथमिक विद्यालय के बच्चों के दांतों की जांच की।
दरअसल, डॉ. राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान के दंत चिकित्सा विभाग की तरफ से सोमवार को विश्व ऑर्थोडोंटिक स्वास्थ्य दिवस पर राजकीय प्राथमिक विद्यालय उजरियांव में एक जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। ऑर्थोडॉन्टिक्स के महत्व पर आयोजित जागरूकता कार्यक्रम में करीब 95 छात्र-छात्राओं के मुंह के स्वास्थ्य की जांच की। डॉ. राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान के दंत चिकित्सा विभाग की विभागाध्यक्ष डॉ शैली महाजन और उनकी टीम ने बच्चों के मुंह के स्वास्थ्य की जांच की। जांच के दौरान 60 से 70 फीसदी बच्चों के दांत में समस्या सामने आई है।
डॉ. शैली ने इसके पीछे की वजह मुंह के स्वास्थ्य को लेकर लोगों में जागरूकता की कमी होना बताई है। उन्होंने साफ तौर पर कहा कि जागरुक रह कर ही मुंह के स्वास्थ्य को अच्छा रखा जा सकता है, अपने दांतों को खराब होने से बचाया जा सकता है।
इस दौरान डॉ. शैली महाजन ने बच्चों के दांत संबंधी समस्या के निराकरण के लिए परामर्श देने के साथ ही दवाईयां भी उपलब्ध कराई। साथ ही कई उपहार भी दिये। डॉ. शैली महाजन ने बताया कि दांतों में सड़न होना यानी की कीड़े लगना ही मात्र एक समस्या नहीं है,बल्कि दांतों का टेढ़ा होना भी मुंह के स्वास्थ्य के लिए घातक है। टेढ़े-मेढ़े दांत आगे चलकर मुंह का स्वास्थ्य बिगाड़ने के साथ ही शरीर का स्वास्थ्य भी बिगाड़ सकते हैं। उन्होंने बताया कि दांत टेढ़े होने से भी दांतों में कीड़े लग सकते हैं। इतना ही नहीं जबड़े के जोड़ भी खराब हो सकते हैं। डॉ. शैली महाजन ने बताया कि 15 मई के दिन पूरी दुनिया में विश्व ऑर्थोडोंटिक दिवस मनाया जाता है। इस दिवस को मनाने का प्रमुख कारण टेढ़े-मेढे़ व बाहर निकले दांतो का इलाज कराने को लेकर लोगों में जागरूकता लाना है।