नकदी गिनने के लिए 10 मशीनें मंगाई गईं
बता दें कि इनकम टैक्स के अधिकारियों ने कारोबारी द्वारा खरीदी गई प्रॉपर्टी को लेकर तहसील कोल से रिपोर्ट मांगी है. वहीं, 50 घंटे से ज्यादा समय होने के बाद भी तलाशी अभी जारी है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, मीट कारोबारी के यहां 10 मशीनों से नोटों की गिनती हो रही है. भारी मात्रा में नकदी भी मिलने की सूचना है. इसके अलावा गोल्ड और विदेशी करेंसी में मिलने की जानकारी मिल रही है.
दुबई में बेशकीमती प्रॉपर्टी खरीदी
चर्चा है कि पिछले दिनों हाजी जहीर ने दुबई में बेशकीमती एक प्रॉपर्टी खरीदी थी, जो कि बिना करेंसी ट्रांसफर किए ही खरीद ली थी. यानी उस प्रॉपर्टी को खरीदने के लिए भारत से दुबई पैसा ट्रांसफर नहीं हुआ है. अब देखा जा रहा है कि आखिर ऐसा कैसे संभव है. लोग इस नजरिए से भी देख रहे हैं कि कहीं मीट के बदले यह प्रॉपर्टी तो नहीं खरीदी गई है.
पश्चिमी यूपी का बेताज बादशाह
सूत्रों की मानें तो डेढ़ दशक पहले जहीर महज एक छोटे से ठेकेदार था. मीट फैक्ट्रियों में पशु सप्लाई करने का काम किया करते था. पशु सप्लाई करते करते जहीर मीट एक्सपोर्टर की ओर कदम रखा. इसके बाद वह पीछे मुड़कर नहीं देखा और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के मीट के सबसे बड़े कारोबारी के रूप में अपना नाम कमा लिया.
जहीर से जुड़े सप्लायर पर आईटी की नजर
सूत्रों की मानें तो जहीर से जुड़े हुए आसपास के जनपद के सप्लायर पर भी आईटी की नजर बनी हुई है. हालांकि, गाजियाबाद में एक मीट सप्लायर के यहां आईटी ने रेड भी मारी है. सूत्रों का कहना है कि इस वक्त जहीर के घर पर मोटी रकम के रूप में कैश रखा हुआ है. यह कैश वह बताया जा रहा है जो अपनी कमाई के समय से 2 परसेंट का हिस्सा रोककर गरीब मस्जिद और मदरसों के लिए रोजा में ईद से पहले दान किया जाता है.
100 से ज्यादा सुरक्षाकर्मी मौजूद
सूत्रों की मानें तो इस पैसे का जहीर के पास कोई भी लेखा-जोखा नहीं है. इसी पैसे की मशीनों के माध्यम से गिनती बताई जा रही है. 3 दिन से लगातार 100 से ज्यादा अधिकारी और सुरक्षाकर्मी जहीर के छह अन्य अन्य ठिकानों पर छापे मार कार्यवाही कर रहे हैं.