(मानवी मीडिया) लंबे इंतजार के बाद अब मस्जिद-ए-अयोध्या का निर्माण कार्य शुरू होने वाला है. इंडो इस्लामिक कल्चरल ट्रस्ट द्वारा मस्जिद के मानचित्र को पास करने में जो सबसे बड़ा रोड़ा आ रहा था, वह अब दूर होने वाला है. अगले सप्ताह अयोध्या विकास प्राधिकरण बोर्ड की बैठक होने वाली है, जिसमें मस्जिद के लिए दी गई भूमि का लैंड यूज चेंज करने के लिए शासन को प्रस्ताव भेज दिया जाएगा.
वहीं, अयोध्या विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष विशाल सिंह ने बताया कि सभी कानूनी औपचारिकताएं शीघ्र ही पूरी कर ली जाएंगी और मस्जिद के मानचित्र को स्वीकृति दे दी जाएगी. इसके लिए जल्द ही बोर्ड की बैठक बुलाई जाएगी.
इसलिए हुई मस्जिद निर्माण कार्य में देरी, यह वजह बनी रोड़ा
सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद शासन ने मस्जिद के लिए 5 एकड़ भूमि अयोध्या जनपद के धन्नीपुर गांव में आवंटित की थी. भूमि आवंटन के बाद मई 2021 में इंडो इस्लामिक कल्चरल फाउंडेशन ने मस्जिद के मानचित्र की स्वीकृति के लिए आवेदन कर दिया था. हालांकि एनओसी के अभाव में अब तक इसको मंजूरी नहीं मिल सकी. जुलाई 2022 में फाउंडेशन के चेयरमैन जफर फारुकी, सचिव अतहर हुसैन, स्थानीय ट्रस्टी अरशद अफजाल ने विकास प्राधिकरण से बैठक और मंत्रणा की थी, जिसके बाद अयोध्या विकास प्राधिकरण के उपाध्यक्ष विशाल सिंह ने भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण, अग्निशमन, सिंचाई विभाग, प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड, जिला प्रशासन और नगर निगम को एनओसी दिए जाने को लेकर पत्र भी भेजा था.