महिला समृद्धि महोत्सव में महिलाओं को मिला खाद्य प्रसंस्करण प्रशिक्षण
स्वयं सहायता समूहों के माध्यम से महिलायें आत्मनिर्भर बनी
लखनऊः( मानवी मीडिया)राज्यपाल की प्रेरणा से अन्तर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर राजभवन के बड़ा लान में नाबार्ड तथा सहयोगी संस्थाओं के सहयोग से ‘महिला समृद्धि महोत्सव’ का समापन प्रदर्शनी में शामिल स्वयं सहायता समूहों के सम्मान के साथ सम्पन्न हो गया। इस अवसर पर कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही ने कहा कि नाबार्ड के माध्यम से स्वयं सहायता समूहों द्वारा किये गये प्रयास तथा आपका हुनर सराहनीय है। उन्होंने कहा कि नाबार्ड अपनी स्थापना के समय से सुदूर ग्रामीण अंचल की महिलाओं को स्वावलम्बी बनाने का कार्य कर रहा है। नाबार्ड ने स्वयं सहायता समूहों के सम्बन्ध में ग्रामीण महिलाओं को जागरूक कर उनके समूह बनवाये, घरेलू महिलओं को घर से निकालकर आगे बढ़ाया तथा स्वावलम्बी बनाया। आज महिलाएं अपने हुनर के माध्यम से विभिन्न प्रकार के उच्च कोटि के उत्पाद तैयार कर रही हैं। उन्होंने कहा कि महिलाएं पुरूषों के किसी भी मामले में कम नहीं है। प्रधानमंत्री एवं मुख्यमंत्री ने भी मातृशक्ति के सशक्तीकरण के प्रयास किये हैं तथा आज महिलाएं आत्मनिर्भर बन कर आगे बढ़ रही हैं। उनमें आत्मविश्वास जगा है तथा स्वावलम्बन के साथ-साथ उनकी आर्थिक स्थिति में भी सुधार हुआ है।
इस अवसर पर राजभवन के गांधी सभागार में आयोजित कार्यक्रम में प्रदेश के वित्त मंत्री सुरेश कुमार खन्ना ने कहा कि कृषि एवं ग्रामीण विकास में नाबार्ड ने उल्लेखनीय योगदान दिया है। नाबार्ड के माध्यम से महिला स्वावलम्बन को बल मिला है, जिससे महिलाएं सशक्तीकरण की ओर अग्रसर हुई हैं। उन्होंने बताया कि वर्तमान बजट में महिला एवं बाल विकास के लिए 233 करोड़ रूपये की व्यवस्था की गयी है। उन्होंने कहा कि नाबार्ड महिलाओं को हुनरमंद बनाने के साथ विपणन की व्यवस्था भी करता है । उनके द्वारा किये गये कार्य सराहनीय हैं। उन्होंने नाबार्ड से अपील की कि इस प्रकार की प्रदर्शनियां एवं हुनरहाट का आयोजन होते रहना चाहिए। इससे स्वयं सहायता समूह की महिलाओं को बाजार की उपलब्धता हो सकेगी और उन्हें अपना उत्पाद बेचने के लिए इधर उधर भटकना नहीं पड़ेगा।
कार्यक्रम में नाबार्ड के अध्यक्ष डा0 जी0आर0 चिंतला ने कहा कि इस त्रिदिवसीय महिला समृद्धि महोत्सव में समूहों की महिलाओं में अभूतपूर्व उत्साह देखा गया। वास्तव में समाज की आर्थिक उन्नति खासकर ग्रामीण भारत की सामाजिक एवं आर्थिक उन्नति महिलाओं के सहयोग एवं उत्थान के बिना सम्भव नहीं है। नाबार्ड की योजनाएं इसी अवधारणा पर आधारित हैं। उन्होंने बताया कि इस त्रिदिवसीय कार्यक्रम में महिलाओं को जागरूक करने के उद्देश्य से त्रिदिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया, जिसमें महिलाओं को उनके अधिकार, सामाजिक कुरीतियों से बचाव, भ्रूण हत्या जैसे विषयों के बारे में विस्तृत जानकारी विषय विशेषज्ञों तथा लोक विधाओं जैसे नाटक, कठपुतली एवं जादू के माध्यम से जानकारी दी गयी। इसके साथ ही उन्हें स्वावलम्बी बनाने के उद्देश्य से खाद्य प्रसंस्करण के बारे में भी प्रशिक्षण दिया गया तथा मशरूम की खेती की जानकारी दी गयी।
इस अवसर पर प्रदर्शनी में उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए 5 स्वयं सहायता समूह को स्मृति चिन्ह तथा प्रतिभाग करने वाले समस्त समूहों के प्रतिनिधियों को सम्मानित किया गया। इस अवसर पर महिला समृद्धि काॅफी टेबल बुक का विमोचन किया गया तथा कृषि मंत्री सूर्य प्रताप शाही, वित्त मंत्री सुरेश कुमार खन्ना, ग्रामीण विकास मंत्री राजेन्द्र प्रताप सिंह (मोती सिंह), सहकारिता मंत्री श्री मुकुट बिहारी वर्मा ने प्रदर्शनी का अवलोकन किया और उत्पादों की प्रशंसा की।
कार्यक्रम में नाबार्ड के मुख्य महा प्रबन्धक डा0 डी0एस0 चैहान, नाबार्ड के अधिकारी तथा स्वयं सहायता समूह की महिलाएं उपस्थित थी।