मानवीय संवेदनाओं जैसे गुणों को अपने में समाहित करें: राज्यपाल - मानवी मीडिया

निष्पक्ष एवं निर्भीक

.

Breaking

Post Top Ad

Post Top Ad

Saturday, January 9, 2021

मानवीय संवेदनाओं जैसे गुणों को अपने में समाहित करें: राज्यपाल

 एस0जी0पी0जी0आई0 का 25वां दीक्षान्त समारोह सम्पन्न

बेहतर चिकित्सक के साथ अच्छे इंसान बने

मानवीय संवेदनाओं जैसे गुणों को अपने में समाहित करें

अंगदान करने हेतु जागरूकता एवं कैंसर ग्रस्त मरीजों को चिन्हित करने का अभियान चलाएं

चिकित्सक विद्यार्थियों के भविष्य निर्माण हेतु सतत् प्रयत्नशील रहें

आधुनिक चिकित्सा के साथ ही पारम्परिक चिकित्सा विधाओं को भी 

विकसित करने की अवश्यकता है -राज्यपाल 


लखनऊः (मानवी मीडिया)‘दीक्षांत-समारोह एक विशिष्ट अवसर है। यह अवसर एक प्रतीक और एक संकेत भी है कि आज से अमूल्य मानव-सम्पदा के रूप में, राष्ट्र निर्माण में योगदान के लिए आपको दीक्षा प्राप्त हो गयी है। इसके साथ ही आपके ऊपर एक बड़ी जिम्मेदारी भी आती है। यह अवसर छात्रों को उन उद्देश्यों की भी याद दिलाता है, जिनके साथ उन्होंने ज्ञानार्जन की यात्रा प्रारम्भ की थी।’ ये विचार उत्तर प्रदेश की राज्यपाल एवं कुलाध्यक्ष श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान के 25वें दीक्षान्त समारोह में व्यक्त किये। उन्होंने पदक व उपाधियां प्राप्त छात्र-छात्राओं को बधाई देते हुए कहा कि छात्र-छात्राएं मानवीय संवेदनाओं जैसे गुणों को अपने में समाहित करें। क्योंकि मानवता के प्रति संवेदनशीलता का भाव ही आपको सामाजिक उत्तरदायित्वों का बोध करायेगा और यही आपके विचारों को परिपक्व करेगा। आप सभी बेहतर चिकित्सक के साथ अच्छे इंसान बने, मरीजों का विश्वास जीतें और निर्धन, असहाय और साधनविहीन लोगों की सेवा करें। इस अवसर पर राज्यपाल द्वारा 193 छात्रों को उपाधियां प्रदान की गयी।


राज्यपाल ने कहा कि आज के वैश्विक परिवेश ने युवाओं को अनेक अवसर प्रदान किये हैं, परन्तु हमारे सामने चुनौतियां भी कम नहीं हैं। हमारे विद्यार्थियों को इन चुनौतियों का समाधान करते हुए जीवन में सफलता के शिखर पर पहुंचना है। उन्होंने कहा कि विकसित देशों के स्वास्थ्य ढांचे से सबक लेते हुए हमें देश के स्वास्थ्य ढांचे विशेषकर ग्रामीण स्तर के स्वास्थ्य ढांचे पर और ध्यान देना होगा। हमें आधुनिक चिकित्सा के साथ-साथ भारत की पारम्परिक चिकित्सा विधाओं को भी विकसित एवं मजबूत करने की आवश्यकता है। क्योंकि कोविड-19 के मध्य हमारी पारम्परिक चिकित्सा एवं खान-पान काफी कारगर रहा है। राज्यपाल ने कहा कि जन सामान्य का विश्वास भी इस ओर बढ़ा है। वास्तव में चिकित्सा विधाएं सिर्फ उपचार पर आधारित नहीं है, बल्कि बीमारियों के बचाव तथा शरीर की रोगों के प्रति लड़ने की प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने के सिद्धान्त पर भी कार्य करती हैं।

राज्यपाल  आनंदीबेन पटेल ने प्रसन्नता व्यक्त करते हुए कहा कि कि वैश्विक महामारी कोरोना संक्रमण की विषम परिस्थितियों में भी एस0जी0पी0जी0आई0 द्वारा न केवल कोरोना संक्रमित मरीजांे का उपचार किया जा रहा है, बल्कि गैर-कोरोना संक्रमित मरीजों को भी अपने चिकित्सकों एवं स्वास्थ्य कर्मियों को संक्रमण से बचाते हुए उचित चिकित्सकीय परामर्श तथा उपचारित करना एवं यथा आवश्यक उनकी शल्य क्रियाओं का निष्पादन सुचारू रूप से किया जा रहा है। यह संस्थान की आम-जनमानस के स्वास्थ्य एवं सुरक्षा के प्रति संवेदना का प्रतीक है। राज्यपाल ने चिकित्सा शिक्षा से जुड़े शिक्षकों कहा कि वे बदलती परिस्थितियों के अनुसार स्वयं को अद्यतन बनायें तथा राष्ट्र और समाज के विकास में अपनी महत्वपूर्ण भागीदारी सुनिश्चित करें। विद्यार्थियों के भविष्य निर्माण हेतु सतत् प्रयत्नशील रहें।


राज्यपाल ने कहा कि अनुसंधान और विकास की उन्नति ने हमारे वैज्ञानिकों की ऊर्जा, रचनात्मकता और नये-अन्वेषण ने विविध सेवा क्षेत्र की कुशलता को बढ़ाने में योगदान दिया है। हमारे वैज्ञानिकों ने परमाणु और अंतरिक्ष विज्ञान तथा सूचना प्रौद्योगिकी, जैव प्रौद्योगिकी और अन्य प्रौद्योगिकियों में तीव्र प्रगति की है। उन्होंने कहा कि हमारे पास ऐसे अनुसंधान-कर्ताओं और वैज्ञानिकों की कोई कमी नहीं है, जिन्हें भौतिक और अनुपयुक्त क्षेत्रों में अत्याधुनिक प्रगति की भली-भांति जानकारी है। उनके पास राष्ट्र की प्रगति के लिये अनुसंधान करने के ज्ञान का भण्डार है। राज्यपाल ने कहा कि अनेक वैज्ञानिक विदेशों में कार्य कर देश का मान-सम्मान बढ़ा रहे हैं। राष्ट्र के निर्माण और दुनिया के साथ चलने की ताकत उनमें है। राज्यपाल ने संस्थान प्रबंधन से अपील की कि वे अंगदान करने हेतु जन जागरूगता अभियान चलाने के साथ-साथ कैंसर ग्रस्त मरीजों को भी चिन्हित करने का अभियान चलाएं, ताकि उन्हें चिकित्सीय सुविधा प्रदान हो सके।

इस अवसर पर एस0जी0पी0जी0आई के निदेशक डाॅ0 आर0के0 धीमन ने वार्षिक लेखा-जोखा प्रस्तुत किया।

कार्यक्रम में मुख्य अतिथि एवं टाटा मेमोरियल सेन्टर, कोलकाता के निदेशक प्रोफेसर मामेन चैंडी, उत्तर प्रदेश के वित्त, संसदीय कार्य एवं चिकित्सा शिक्षामंत्री  सुरेश खन्ना, उत्तर प्रदेश के चिकित्सा एवं वित्त मंत्री  संदीप कुमार सिंह, उत्तर प्रदेश शासन के मुख्य सचिव एवं संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान के अध्यक्ष राजेन्द्र कुमार तिवारी, अतिरिक्त मुख्य सचिव डाॅ0 रजनीश दुबे, संजय गांधी स्नातकोत्तर आयुर्विज्ञान संस्थान के संकाय अध्यक्ष प्रोफेसर एस0के0 मिश्रा, कार्यपालक कुलसचिव प्रोफेसर सोनिया नित्यानन्द एवं चिकित्सक सहित शोधकर्ता उपस्थित थे

Post Top Ad