टेड्रोस अधनोम घेब्रेसियस ने रविवार को कहा कि कोरोना वायरस संकट अंतिम महामारी नहीं होगा और मानव स्वास्थ्य में सुधार के प्रयास, जलवायु परिवर्तन और पशु कल्याण की चुनौतियों से निपटेेे बगैर सारे प्रयास 'बेकार' हैं। उन्होंने कहा, "सभी देशों को अपनी क्षमता के अनुसार इसकी तैयारी में लग जाना चाहिए। तैयारी का मतलब सिर्फ स्वास्थ्य विभाग में नौकरी नहीं है बल्कि सभी जरुरी सरकारी और सामाजिक दृश्टिकोण को बढ़ावा देना है। इतिहास ने हमें बताया है कि यह आखिरी महामारी नहीं है और यह जीवन की सच्चाई है।"
उन्होंने कहा कि बहुत लंबे समय के लिए, दुनिया ने आतंक और उपेक्षा के एक चक्र पर काम किया है। हम एक प्रकोप पर पैसा फेंकते हैं और जब यह खत्म हो जाता है, तो हम इसके बारे में भूल जाते हैं और अगले को रोकने के लिए कुछ भी नहीं करते हैं। यह खतरनाक रूप से अदूरदर्शी और समझने में मुश्किल है।
स्वास्थ्य तैयारियों के लिए विश्व तत्परता पर वैश्विक तैयारी निगरानी बोर्ड की सितंबर 2019 की पहली वार्षिक रिपोर्ट प्रकाशित हुई थी। इसके कुछ महीने बाद दुनिया में कोरोना वायरस का प्रकोप फैला, जबकि इस रिपोर्ट में कहा गया था कि दुनिया संभावित विनाशकारी महामारी के लिए तैयार नहीं है। टेड्रोस ने कहा, 'इतिहास हमें बताता है कि यह अंतिम महामारी नहीं होगी, और महामारी जीवन का एक तथ्य है।'
जॉन होपकिंस यूनीवर्सिटी के अनुसार दुनिया भर में कोरोना से आठ करोड़ से ज्यादा लोग संक्रमित हो चुके हैं और 17 लाख 50 हजार से ज्यादा मरीजों की इससे मौत हुई है।