नई दिल्ली (मानवी मीडिया): भारतीय नौसेना ने आज INS चेन्नई से सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल ब्रह्मोस का सफलतापूर्वक परीक्षण किया। डिफेंस रिसर्च एंड डिवेलपमेंट ऑर्गनाइजेशन (DRDO) ने एक बयान जारी करके यह जानकारी दी है। अरब सागर में INS चेन्नई से दागे गए मिसाइल ने उच्चस्तरीय और बेहद जटिल युद्धाभ्यास के बाद लक्ष्य को सटीकता से पिन-पॉइंट मार गिराया। डीआरडीओ ने कहा कि ब्रह्मोस एक 'प्राइम स्ट्राइक वेपन' है, जो लंबी दूरी पर मौजूद सतह के लक्ष्यों को उलझाकर युद्धपोत की अजेयता सुनिश्चित करेगा। यह विध्वंसक मिसाइल भारतीय नौसेना को और अतिक घातक बना देगा। अत्यधिक ब्राह्मोस को भारत और रूस द्वारा संयुक्त रूप से डिजाइन, विकसित और निर्मित किया गया है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने डीआरडीओ, ब्रह्मोस और भारतीय नौसेना को सफल प्रक्षेपण के लिए बधाई दी है।
डीडीआर एंड डी के सचिव और डीआरडीओ के चेयरमैन डॉ. जी सतीश रेड्डी ने सफल उपलब्धि के लिए वैज्ञानिकों और डीआरडीओ, ब्रह्मोस, भारतीय नौसेना के सभी कर्मियों को बधाई दी हैं। उन्होंने कहा कि ब्राह्मोस मिसाइलें भारतीय सशस्त्र बलों की क्षमताओं में और इजाफा करेगी। ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल 400 किलोमीटर से ज्यादा दूरी तक के लक्ष्य को निश्चित अवधि में भेद सकती है। इससे पनडुब्बी, युद्धपोत, लड़ाकू विमानों और जमीन से भी लॉन्च किया जा सकता है। मिसाइल ने सटीकता के साथ टारगेट को हिट किया (फाइल फोटो)आपको बता दें कि इससे पहले शुक्रवार रात को भारत ने ओडिशा के एक परीक्षण केंद्र से सेना के प्रायोगिक परीक्षण के तहत परमाणु आयुध ले जाने में सक्षम एवं स्वदेश में विकसित ‘पृथ्वी-2’ मिसाइल का सफल रात्रिकालीन परीक्षण किया। सतह से सतह पर मार करनेवाली अत्याधुनिक मिसाइल को बालासोर के नजदीक चांदीपुर स्थित एकीकृत परीक्षण केंद्र (आईटीआर) के प्रक्षेपण परिसर-3 से रात लगभग साढ़े सात बजे दागा गया और परीक्षण सफल रहा।