कोच्चि (मानवी मीडिया)-केरल में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) की एक अदालत ने इस्लामिक स्टेट ऑफ इराक और सीरिया (आईएसआईएस) में शामिल होने और एशियाई देशों के खिलाफ युद्ध छेड़ने वाले सुबहानी हाजा मोईद्दीन को सोमवार को उम्रकैद की सजा सुनाई। न्यायमूर्ति पी कृष्णा कुमार ने उस पर एक लाख रुपए का जुर्माना भी लगाया है और यह केरल में आईएसआईएस के किसी सदस्य के खिलाफ दर्ज किया गया पहला मामला है जिसमें एशियाई देशों के खिलाफ युद्ध छेड़ने के आरोप लगाए गए हैं। आरोपपत्र के अनुसार सुबहानी (34) थोडुपुजहा का रहने वाला है और वह 2015 में इराक गया था जहां वह आईएसआईएस में शामिल हुआ। इसके बाद उसे हथियार चलाने का प्रशिक्षण दिया गया और फिर उसकी तैनाती इराक में मोसुल के समीप लड़ाई के मैदान में की गई थी। एनआईए ने राष्ट्रविरोधी गतिविधियों को अंजाम देने के मामले में उसे अन्य आरोपियों के साथ कन्नूर से 2016 में गिरफ्तार किया गया था। जांच टीम ने यह भी पाया कि उसने केरल और तमिलनाडु में आईएसआईएस की गतिविधियों की फैलाने तथा विशिष्ट व्यक्तियों की हत्या की योजना बनाई थी। एनआईए ने अपनी जांच में यह भी पाया कि इराक से भारत लौटने के बाद सुबहानी ने सोशल मीडिया के जरिए 15 लोगों की भर्ती की थी और वह अपनी गतिविधियों को सोशल मीडिया के जरिए बढ़ाता था। उसने सोशल मीडिया के जरिए आईएसआईएस के विभिन्न केन्द्रों से संपर्क भी किया था। आरोपपत्र में यह भी कहा गया है कि सुबहानी शिवकाशी से विस्फोटक सामग्री एकत्र करने की फिराक में था और उसकी योजना भीड़ वाले क्षेत्रों में विस्फोट कराने की थी।
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Monday, September 28, 2020
एनआईए की अदालत का फैसला, आईएसआईएस में शामिल होने वाले मोईद्दीन को उम्र कैद की सजा
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