उन्नाव रेप केसः पीड़िता के पिता की हत्या में पूर्व विधायक कुलदीप सेंगर दोषी करार, सजा का ऐलान 12 को - मानवी मीडिया

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Wednesday, March 4, 2020

उन्नाव रेप केसः पीड़िता के पिता की हत्या में पूर्व विधायक कुलदीप सेंगर दोषी करार, सजा का ऐलान 12 को




  • मुख्य समाचार

  • राष्ट्रीय बुुधवार 04 मार्च, 2020 |नई दिल्ली उन्नाव रेप केस में उम्रकैद की सजा भुगत रहे बीजेपी के पूर्व विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की मुश्किलें और बढ़ गई हैं। सेंगर को रेप पीड़िता के पिता की हत्या के मामले में दोषी करार दिया गया है। इस मामले में पूर्व विधायक सेंगर समेत कुल 11 आरोपी थे। इनमें से 4 को बरी कर दिया गया है, जबकि बाकी 7 को कोर्ट ने पीड़िता के पिता की कस्टडी में हुई मौत का दोषी माना है। रेप पीड़िता के पिता की न्यायिक हिरासत में नौ अप्रैल 2018 में मौत हो गई थी। बुधवार को दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए सेंगर को धारा 304 और 120बी में दोषी करार दिया है। अदालत ने कहा कि आपका आशय नहीं था, लेकिन जिस तरीके से पीड़िता के पिता को मारा गया, वो ब्रूटल था। आपको दोषी करार दिया जाता है। अदालत सजा पर फैसला 12 मार्च को सुनाएगी। आरोपी कुलदीप सेंगर समेत जिन 7 लोग को दोषी करार दिया गया है, इनमें से दो यूपी पुलिस के अधिकारी हैंं। एक एसएचओ है, दूसरा सब इंस्पेक्टर है।सीबीआई और पीड़िता के वकील को सराहाफैसला सुनाते हुए जज ने कहा कि मेरी जिंदगी का सबसे चुनौतीपूर्ण ट्रायल रहा। जज ने सीबीआई की सराहना की। पीड़ित के वकील की भी सराहना की। कुलदीप सेंगर से जज ने कहा कि आप क्या कहना चाहेंगे। उसने कहा मै निर्दोष हूं। जज ने कहा कि आपने टेक्नोलॉजी का अच्छा इस्तेमाल किया।ये हैं दोषी व बरी किए गए लोग 






1- कुलदीप सेंगर -- दोषी


2- कामता प्रसाद, सब इंस्पेक्टर -- दोषी


3- अशोक सिंह भदौरिया, SHO -- दोषी


4- शैलेंद्र सिंह उर्फ टिंकू सिंह -- बरी


5- विनीत मिश्रा उर्फ विनय मिश्रा -- दोषी


6- बीरेंद्र सिंह उर्फ बउवा सिंह -- दोषी


7- राम शरण सिंह उर्फ सोनू सिंह -- बरी


8- शशि प्रताप सिंह उर्फ सुमन सिंह -- दोषी


9- अमीर खान, कॉन्स्टेबल -- बरी


10- जयदीप सिंह उर्फ अतुल सिंह -- दोषी


11- शरदवीर सिंह -- बरी
सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर दिल्ली ट्रांसफर किया गया था मामलाइस मामले की सुनवाई को अन्य मामलों के साथ सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर दिल्ली ट्रांसफर किया गया था। इस मामले में सीबीआई ने आरोपों को साबित करने के लिए पीड़िता के चाचा, मां, बहन व पिता के सहकर्मी समेत 55 गवाहों के बयान दर्ज करवाए तो वहीं बचाव पक्ष ने नौ गवाहों को पेश किया। सीबीआई के मुताबिक, तीन अप्रैल 2018 को पीड़िता के पिता व आरोपी शशि प्रताप सिंह के बीच झगड़ा हुआ था।




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