ईडी ने किया बड़ा खुलासा, बताया- डीके शिवकुमार के पास 317 बैंक खाते व 800 करोड़ की बेनामी संपत्ति  शनिवार 14 सितंबर 2019  - मानवी मीडिया

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Saturday, September 14, 2019

ईडी ने किया बड़ा खुलासा, बताया- डीके शिवकुमार के पास 317 बैंक खाते व 800 करोड़ की बेनामी संपत्ति  शनिवार 14 सितंबर 2019 


नई दिल्ली: कांग्रेस के दिग्गज नेता और पार्टी के लिए संकटमोचक कहे जाने वाले डीके शिवकुमार को दिल्ली की अदालत से शुक्रवार को झटका लगा है। कोर्ट ने मनी लॉन्ड्रिंग मामले में 17 सितंबर तक उन्हें ईडी की हिरासत में भेज दिया है। 





प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शुक्रवार को कहा कि अब तक की जांच में उसे पता चला है कि कांग्रेस नेता डीके शिवकुमार,, उनके परिवार के सदस्यों और उनके करीबीयों के 20 विभिन्न बैकों में 317 खाते हैं। जांच एजेंसी ने दावा किया है कि उसे 200 करोड़ रुपये की मनी लांड्रिंग का पता चला है। ईडी का कहना है कि उसे कांग्रेस नेता के नाम पर 800 करोड़ रुपये की बेनामी संपत्ति मिली है।एजेंसी का कहना है कि उनकी 22 साल की बेटी ऐश्वर्या के नाम पर 108 करोड़ रुपये का लेन-देन हुआ है। यह सभी प्रस्तुतीकरण विशेष जज अजय कुमार कुहार के सामने किए गए। जो एजेंसी की उस याचिका पर सुनवाई कर रहे थे जिसमें शिवकुमार की हिरासत पांच और दिन के लिए मांगी गई थी। अदालत ने 17 सितंबर तक के लिए राजनेता को ईडी की हिरासत में भेज दिया है।


अदालत ने पाया कि ईडी की जांच को ऐसे समय पर नहीं रोकना चाहिए जब आरोपी के खिलाफ साक्ष्य मौजूद हैं। अदालत ने कहा, 'ईडी यह सुनिश्चित करे कि आरोपी अपनी सभी जरूरी दवाएं ले। हर 24 घंटे में या उससे पहले और जब आवश्यकता पड़े तब उसका परीक्षण किया जाए।' जज कुहार ने शिवकुमार को रोजाना आधे घंटे के लिए अपने पारिवारिक डॉक्टर के अलावा परिवार के सदस्यों से भी मिलने की इजाजत दे दी।ईडी ने अतिरिक्त सॉलिसीटर जनरल केएम नटराज के जरिए शिवकुमार की पांच दिनों की कस्टडी मांगी थी। जिसमें हिरासत के समय हुए नए खुलासों का हवाला दिया गया था। विशेष अभियोजक एनके मत्ता के माध्यम से दायर की गई रिमांड याचिका में कहा गया है कि हिरासत में पूछताछ के दौरान शिवकुमार ने टाल-मटोल वाला रवैया अपनाया। कथित धनराशि को एजेंसी ने राष्ट्रीय अर्थव्यवस्था के लिए खतरा बताया।एजेंसी ने कहा कि विशिष्ट प्रश्नों के जवाब देने की बजाए शिवकुमार ने एजेंसी का समय बर्बाद किया। इसके अलावा उन्होंने सवालों का जवाब देने के लिए लंबा समय लिया और थकने और नींद आने के आधार पर कई ब्रेक लिए। हालांकि एजेंसी का कहना है कि उसे जांच में पर्याप्त प्रगति मिली है। ईडी ने आरोप लगाया है कि जांच में यह पता चला है कि शिवकुमार ने विधायक और कर्नाटक सरकार में मंत्री के अपने पद का दुरुपयोग करते हुए बड़ी मात्रा में पैसा बनाया।




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